आप अपने जीवन बीमा का प्रीमियम मासिक, तिमाही, हर 6 महीनों में या सालाना, नियमित रूप से भर सकती हैं। यह आपकी खरीदी हुई बीमा योजना पर निर्भर करता है। इसलिए आपको अपनी आमदनी और बीमा की ज़रूरतों को समझकर ही बीमा योजना खरीदनी चाहिए।
अलग अलग बीमा कंपनियां अलग अलग प्रकारों की बीमा योजनाएं बेचती हैं। इन योजनाओं के अलग अलग प्रीमियम होते हैं। इसलिए किसी भी बीमा योजना खरीदते समय आपको वैसी ही योजनाओं के प्रीमियम और लाभ की तुलना करनी चाहिए।
कम उम्र में बीमा योजना खरीदने पर आपको इसके लिए कम प्रीमियम भरना पड़ता है। तो आप किस बात का इंतज़ार कर रही हैं। आज ही जीवन बीमा खरीदें और खुदको और अपने परिवार को आर्थिक चिंताओं से दूर रखें।
सम अर्शयॉर्ड वह राशि है जो बीमा कंपनी आपका योजना काल ख़त्म होने या आपकी मृत्यु होने पर आपको या योजना लाभ धारक को देती है।
आपको योजना में कितने सम अर्शयॉर्ड की ज़रुरत है इसे तय करें।
बीमा कंपनी के बारे में इंटरनेट और उनकी कंपनी वेबसाइट पर पढ़ें। इनमे उनके पूर्व और वर्त्तमान ग्राहकों ने अपने अनुभव लिखे होंगे। उनके अनुभव और योजना और बीमा कंपनी के बारे में टिप्पणियां ज़रूर पढ़ें। अगर कोई नकारात्मक टिप्पणियां है तो उन्हें ध्यान से पढ़ें और दूसरी कंपनियों से इसकी तुलना करें।
किसी भी बीमा योजना में दावा राशि के लिए ऑनलाइन और ओफ्लिने दोनों सुविधाएं होनी चाहिए। किसी भी योजना को लेते समय ही उसकी दावा राशि का आवेदन भरने के सबसे आसान तरीके खोजें। इसके लिए भी आप बीमा कंपनी के ग्राहक अनुभव और टिप्पणियां देख सकती हैं।
किसी भी बीमा कंपनी का दावा निपटान अनुपात उसे आये हुए दावा राशि आवेदनों में से कितने सफलता पूर्व मान्य हुए हैं उनकी जानकारी देता है। यह सालाना तौर पर बताया जाता है।
बीमा कंपनियां हर साल इस संख्या का आंकलन कर नतीजे अपनी वेबसाइट पर डालती हैं। यह एक आसान तरीका है बीमा कंपनी द्वारा ग्राहकों की और रवैय्या देखने का।
आइए एक छोटा सा व्यायाम करें